VS News India | Sanjay Kumar | Safidon :- नगर के नागरिक अस्पताल में अपनी मांगों को लेकर आउटसोर्सिंग कर्मचारियों ने हाथों में काली पट्टी बांधकर प्रदर्शन किया। रोष प्रदर्शन की अगुवाई प्रधान विकास कुमार ने की। अपने संबोधन में विकास कुमार ने कहा कि कंपनी द्वारा हर साल ठेकेदार को बदल दिया जाता है। जिस पर नया ठेकेदार पुराने कर्मचारियों को हटाकर अपने चहेते नए कर्मचारियों को लगा देता है जोकि सरासर गलत है। पुराने कर्मचारियों को आगे फिर से लगाने के लिए नए ठेकेदार द्वारा पैसों की डिमांड की जाती है। उन्होंने सरकार से मांग की कि जब सरकार हर फील्ड में बिचौलियों को खत्म कर रही है तो यहां भी ठेकेदारी प्रथा को बंद करके रोस्टर प्रणाली के तहत कर्मचारियों को भर्ती किया जाए, जिससे कर्मचारी बेहतर तरीके से अपने कार्य को कर सकेंगे। उन्होंने कहा कि इस समय आऊटसोर्सिंग कर्मचारी कोरोना महामारी के समय फ्रंटलाइन पर रहकर काम कर रहे हैं।

अगर ड्यूटी के वक्त काम करते हुए किसी कर्मचारी की मृत्यु हो जाती है तो ठेकेदार, कंपनी व सरकार द्वारा किसी भी तरह की सहायता कर्मचारी को उपलब्ध नहीं करवाई जाती है। सरकार, कंपनी व ठेकेदार को चाहिए कि अगर किसी कर्मचारी की कार्य करते हुए मृत्यु हो जाती है तो उसे उचित आर्थिक व रोजगार की सहायता प्रदान करे। उन्होंने बताया कि वे काली पट्टी बांधकर रोष प्रकट करते हुए अपना कार्य निरंतर जारी रखेंगे ताकि मरीजों व आम जनता को किसी प्रकार की परेशानी ना हो। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर सरकार कर्मचारियों की मांगों को नहीं मानती तो कर्मचारी कड़ा फैसला लेने पर मजबूर होंगे। इस अवसर पर अमरजीत, राममेहर, दीपक, नीतू व सीमा सहित अन्य आऊटसोर्सिंग कर्मचारी मौजूद थे।

कई दिन पूर्व भी किया था कर्मचारियों ने प्रदर्शन
कोरोना महामारी के बीच आऊटसोर्सिंग कर्मचारियों के द्वारा प्रदर्शन किए जाने का सिलसिला लगातार जारी है। अभी जुमा-जुमा 4 दिन पूर्व भी इन कर्मचारियों ने अस्पताल प्रशासन की ओर से उन्हें सुविधाएं ना देने के आरोपों के साथ धरना व प्रदर्शन किया था। कर्मचारियों का कहना था कि उन्हे अपनी जान जोखिम में डालकर काम करना पड़ रहा है। अस्पताल प्रशासन की ओर से उन्हें ना तो मास्क, ना सैनिटाइजर और ना ही दस्ताने दिए जा रहे हैं। पिछले 4 महीनों से उन्हे वेतन भी प्राप्त नहीं हो रहा है। जिस पर नायब तहसीलदार रामपाल शर्मा, कोरोना नोडल अधिकारी डा. विकास गुप्ता व डा. तुषार ने धरने पर पहुंचकर कर्मचारियों को आश्वासन देकर धरने से उठाया था।
